Submerged Delhi, life disrupted due to rising water level in Yamuna, see photos
नई दिल्ली। यमुना में जलस्तर बढ़ने से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। विशेषज्ञों का कहना है कि इस बार हथिनीकुंड बैराज से कम पानी आने के बावजूद यमुना में बाढ़ का खतरा बढ़ गया है। इसके मुख्य कारण दिल्ली में योजनाओं की कमी, यमुना में सिल्ट और अतिक्रमण हैं। वर्ष 1978 से लेकर अब तक बाढ़ प्रबंधन को लेकर कोई ठोस योजना नहीं बनाई गई, जिस कारण यमुना में आई बाढ़ बार-बार कहर ढाती है।
दिल्ली में शनिवार को यमुना का वाटर लेवल कम हुआ। दोपहर 12 बजे यमुना नदी का जलस्तर घटकर 207.38 मीटर पर आ गया। इसके अभी और कम होने की उम्मीद है।
उधर मौसम विभाग ने शनिवार को दिल्ली के बारिश का यलो अलर्ट जारी किया है। IMD के मुताबिक, 15 जुलाई को दिल्ली में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है।
राजधानी के इंद्रप्रस्थ इलाके में यमुना नदी में बने ड्रेनेज का रेगुलेटर टूट गया था। इसे शुक्रवार रात सेना की मदद से ठीक कर दिया गया। ITO बैराज का एक गेट भी खोल दिया गया।
हालांकि अभी भी बाढ़ का पानी यमुना बाजार, लाल किला, ITO, बेला रोड और आसपास के इलाकों में भरा हुआ है। राहत और बचाव के लिए NDRF की 16 टीमें अभी भी तैनात हैं।
पूरे देश के मौसम का हाल जानें तो अगले 24 घंटे हिमाचल, मध्य प्रदेश, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, पूर्वी राजस्थान सहित 20 राज्यों में भारी बारिश की संभावना जताई गई है।