दलित समुदाय के लोगों को नए साल का मिला तोहफा, प्रशासन की कोशिशें सफल हुई
तमिलनाडु के चिन्नासालेम में नए साल के मौके पर 200 साल बाद दलितों को कल्लकुरिचि वरदराजपेरुमल मंदिर में एंट्री मिली अधिकारियों द्वारा दलितों के लिए यह नए साल का तोहफा मिला। 200 सालों बाद मिले इस अधिकार से दलित समुदाय के लोग बहुत खुश हुए उसके बाद उन्होंने मंदिर में पूजा भी की।
दरअसल मंदिर में दलित समुदाय के लोग लंबे समय से प्रवेश की मांग कर रहे थे लेकिन उन्हें गांव के लोगों के द्वारा स्वीकृति नहीं मिल पा रही थी, गांव के लोग पुराने रीति रिवाज के अनुसार ही मान्यता को मान रहे थे लेकिन दलित समुदाय के लोग लगातार विरोध कर रहे थे। जब मामला कलेक्टर और आरटीओ के पास पहुंचा उन्होंने तुरंत हिंदू धार्मिक और धर्मार्थ बंदोबस्ती विभाग से संपर्क किया और वहां से वंचित समाज को एंट्री दिलवाई।
प्रशासन को डर था कि गांव वाले इस विरोध को बढ़ा सकते हैं जिससे विवाद हिंसक हो सकता था। ऐसे में मंदिर के आसपास 300 पुलिसकर्मियों को तैनात किया था और उनकी सुरक्षा के बीच दलित समुदाय के लोगों को मंदिर में प्रवेश मिला। इससे पहले अय्यनार मंदिर में भी दलितों को एंट्री नहीं दी जा रही थी लेकिन वहां भी प्रशासन ने वंचित समाज को उनका हक दिलाया, गांव वाले भी जागरूकता फैलाने का काम कर रहे थे।