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नई दिल्ली: भारतीय सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने हाल ही में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ को लेकर एक महत्वपूर्ण खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि आतंकवाद के खिलाफ इस ऑपरेशन के दौरान सरकार ने सेना को पूरी तरह से ‘फ्री हैंड’ दिया था। उन्होंने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की तुलना शतरंज के खेल से की, जहां न तो उन्हें और न ही दुश्मन को पता था कि अगला कदम क्या होगा।
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जनरल द्विवेदी ने 4 अगस्त को आईआईटी मद्रास में ‘अग्निशोध’- इंडियन आर्मी रिसर्च सेल (IARC) के उद्घाटन समारोह के दौरान यह बात कही। उन्होंने ‘ऑपरेशन सिंदूर- आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई में एक नया अध्याय’ विषय पर भी संबोधित किया।
सेना प्रमुख ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सरकार ने हमें फ्री हैंड दिया था। हम इस ऑपरेशन में शतरंज खेल रहे थे। न हमें पता था कि दुश्मन की अगली चाल क्या होगी और न ही दुश्मन को पता था कि हम क्या करने वाले हैं।”
उन्होंने आगे कहा, “हम शतरंज की चालें चल रहे थे और वह (दुश्मन) भी शतरंज खेल रहा था। कहीं हम उन्हें शह और मात दे रहे थे तो कहीं हम अपनी जान गंवाने के जोखिम पर भी हार मान रहे थे, लेकिन यही तो जिंदगी है।” उन्होंने इस स्थिति को ‘ग्रे जोन’ बताया, जिसका मतलब है कि यह कोई पारंपरिक सैन्य ऑपरेशन नहीं था।
जनरल द्विवेदी ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ को एक सुनियोजित और खुफिया-आधारित ऑपरेशन बताया, जो आतंकवाद के खिलाफ भारत की रणनीति में एक सैद्धांतिक बदलाव को दर्शाता है। उनका यह बयान न केवल सेना के साहस और रणनीति को दर्शाता है, बल्कि आतंकवाद से निपटने के लिए सरकार और सेना के बीच समन्वय और विश्वास को भी उजागर करता है।