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नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के वरिष्ठ IAS अधिकारी और अनुसूचित जाति-जनजाति अधिकारी एवं कर्मचारी संघ (अजाक्स) के अध्यक्ष संतोष वर्मा द्वारा ब्राह्मण बेटियों को लेकर की गई अभद्र टिप्पणी पर विवाद थमता नज़र नहीं आ रहा है। बढ़ते विरोध के बीच राज्य सरकार ने गंभीरता से संज्ञान लेते हुए वर्मा को कारण बताओ नोटिस जारी किया है।
सात दिनों में जवाब मांगा, आचरण नियमों का उल्लंघन माना
सामान्य प्रशासन विभाग (GAD) ने संतोष वर्मा की टिप्पणी को सिविल सेवा आचरण नियमावली का उल्लंघन बताया है और उनसे 7 दिनों के भीतर लिखित स्पष्टीकरण देने को कहा है। विभाग ने बुधवार देर रात नोटिस जारी किया।
क्या कहा था IAS संतोष वर्मा ने?
रविवार को अजाक्स के प्रांतीय अधिवेशन में संबोधन के दौरान संतोष वर्मा ने विवादित टिप्पणी करते हुए कहा था कि—
“आरक्षण समाप्त हो जाएगा, अगर ब्राह्मण अपनी बेटी दान करें।”
इस कथन को लेकर प्रदेशभर में तीखी प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है। इसे असभ्य और अमर्यादित बताते हुए कई संगठनों ने कड़ा विरोध दर्ज कराया है।
प्रदर्शन और FIR की मांग
विवाद बढ़ने के बाद प्रदेश के कई जिलों में विभिन्न सामाजिक और ब्राह्मण संगठनों ने प्रदर्शन करते हुए एफआईआर दर्ज करने की मांग की है। कई स्थानों पर लोगों ने थानों में आवेदन देकर वर्मा के खिलाफ आपराधिक कार्रवाई की मांग की है।
मुख्यमंत्री ने दिए कार्रवाई के निर्देश
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मामले को गंभीर मानते हुए अधिकारियों को नियम अनुसार कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे। इसके बाद GAD ने तुरंत नोटिस जारी कर प्रक्रिया शुरू कर दी।
विवाद पर बढ़ती प्रतिक्रियाएँ
समाज के विभिन्न वर्गों ने IAS अधिकारी की टिप्पणी को सामाजिक सौहार्द और सरकारी सेवा की गरिमा के विपरीत बताया है। सोशल मीडिया पर भी इस बयान की तीखी आलोचना जारी है।

