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ब्राजील। संयुक्त राष्ट्र के जलवायु परिवर्तन सम्मेलन COP30 के दौरान गुरुवार को उस समय हड़कंप मच गया, जब ब्राजील के बेलेम शहर स्थित समिट के मुख्य वेन्यू में आग लग गई। इस घटना में 13 लोग घायल हुए हैं, जबकि हजारों की संख्या में मौजूद प्रतिनिधि सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिए गए। भारत के पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव भी आग लगने के समय भारतीय प्रतिनिधिमंडल के साथ उसी परिसर में मौजूद थे, लेकिन सभी सुरक्षित बाहर निकल आए।
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घटना स्थानीय समयानुसार दोपहर 2 बजे (भारतीय समयानुसार रात 10:30 बजे) की है। आग सम्मेलन स्थल के एक कन्वेंशन हॉल के अंदर स्थित एक पवेलियन में अचानक भड़क उठी। उस वक्त पवेलियन में 190 से अधिक देशों से आए करीब 50,000 से ज्यादा राजनयिक, पत्रकार, पर्यावरण विशेषज्ञ और एक्टिविस्ट मौजूद थे। आग लगने के बाद अफरा-तफरी मच गई, लेकिन सुरक्षा कर्मियों ने त्वरित कार्रवाई कर लोगों को बाहर निकालने में सफलता हासिल की।
दमकल विभाग के अनुसार, आग पर काबू पा लिया गया है और हॉल को खाली करा दिया गया है। शुरुआती जांच में आशंका जताई जा रही है कि आग का कारण संभवतः इलेक्ट्रिक शॉर्ट-सर्किट हो सकता है, हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि अभी नहीं हुई है। आग के कारण पवेलियन के कई हिस्सों को नुकसान पहुंचा है।
भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने पुष्टि की है कि मंत्री भूपेंद्र यादव और उनके साथ मौजूद अधिकारी पूरी तरह सुरक्षित हैं। भारतीय दल ने घटना स्थल से बाहरी क्षेत्र में पहुंचकर आगे की कार्रवाइयों की जानकारी ली और स्थानीय प्रशासन से समन्वय बनाए रखा।
आगकी घटना के बाद COP30 आयोजन समिति ने बयान जारी कर कहा कि सभी घायल लोगों को तुरंत अस्पताल ले जाया गया है और उनकी हालत स्थिर है। समिति ने यह भी स्पष्ट किया कि सुरक्षा का पुनर्मूल्यांकन किया जा रहा है और अगली बैठकों के लिए पवेलियन की व्यवस्था की समीक्षा होगी।
घटना के चलते सम्मेलन का कार्यक्रम अस्थायी रूप से रोक दिया गया, हालांकि उम्मीद है कि सुरक्षा जांच पूरी होने के बाद चर्चा सत्रों को पुनः शुरू किया जाएगा। COP30 में दुनिया भर के देशों के प्रतिनिधि जलवायु संकट, कार्बन उत्सर्जन में कटौती और ग्रीन फंडिंग जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा के लिए जुटे हैं।

