More than 37 lakh trees are being planted in the district under the Chief Minister’s Van Sampada Yojana, the Chief Minister virtually inaugurated the scheme
जगदलपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विश्व वानिकी दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री वन संपदा योजना का वर्चुअल माध्यम से शुभारंभ किया। बस्तर जिले में वन सम्पदा योजना के माध्यम से वर्ष 2023 हेतु रोपण के लिए 2083 हितग्राहियों के द्वारा 4694 एकड़ जमीन पर 37 लाख 14 हजार 36 पौधों का रोपण का लक्ष्य रखा गया है। जगदलपुर शहर के धरमपुरा दलपत सागर के पास आयोजित कार्यक्रम में हितग्राही टी कोन्डल राव के जमीन में 1500 पौधों का रोपण किया गया। इस अवसर पर पूर्व मंत्री अरविन्द नेताम, महापौर सफीरा साहू,मछुआ कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष एमआर निषाद, इन्द्रावती नदी बेसिन विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष राजीव शर्मा, सीसीएफ मोहम्मद शाहिद, कलेक्टर चंदन कुमार, वनमण्डलाधिकारी डीपी साहू, नगर निगम आयुक्त दिनेश नाग सहित पर्यावरण संरक्षण से संबंधित समिति के सदस्य और योजना के हितग्राहीगण उपस्थित थे।
वर्चुअल माध्यम से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विश्व वानिकी दिवस के अवसर पर 33 जिलों के 42 स्थानों में ‘‘मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना’’ का शुभारंभ किया। मुख्यमंत्री ने वृक्ष सम्पदा योजना के शुभारंभ के अवसर पर सामुदायिक वन संसाधन अधिकार जारी करने की प्रक्रिया को ट्रेक करने हेतु मोबाईल ऐप और एनटीपीएस (ट्रांसपोर्ट परमिशन) की आनलाइन सुविधा का लोकार्पण किया। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने शहीद महेन्द्र कर्मा सामाजिक सुरक्षा योजना के अंतर्गत प्रदेश के 1458 हितग्राहियों के खाते में कुल 22 करोड़ रुपए की राशि का हस्तांतरण किया। बस्तर जिले में 05 हितग्राहियों को उपस्थित अतिथियों द्वारा चेक वितरण किया गया।
ज्ञात हो कि मुख्यमंत्री वृक्ष सम्पदा योजना छत्तीसगढ़ में वाणिज्यिक वृक्षारोपण को बढ़ावा देने मुख्यमंत्री की पहल पर शुरू की गई है। योजना सभी वर्ग के किसानों की पड़त भूमि पर होगा वाणिज्यिक वृक्षारोपण 33 जिलों के 23 हजार 600 किसानों द्वारा 36 हजार 230 एकड़ में वृक्षारोपण किया जाएगा। इस योजना में राज्य शासन द्वारा 5 एकड़ तक वृक्षारोपण हेतु 100 प्रतिशत अनुदान, 5 एकड़ से अधिक क्षेत्र में वृक्षारोपण हेतु 50 प्रतिशत वित्तीय अनुदान दिया जाएगा। इससे किसानों को सालाना प्रति एकड़ 15 से 50 हजार रूपए तक की आय होने का अनुमान है साथ ही कार्बन क्रेडिट के माध्यम से भी किसानों को अतिरिक्त आय होगी। योजना का किसान, इच्छुक भूमि स्वामी, शासकीय, अर्ध शासकीय एवं शासन के स्वायत्त संस्थाएं, निजी शिक्षण संस्थाएं, निजी ट्रस्ट, पंचायत तथा भूमि अनुबंध धारक मुख्यमंत्री वृक्ष सम्पदा योजना का लाभ उठा सकते हैं। इस वर्ष प्रदेश में 12 प्रकार की प्रजाति के वृक्ष का रोपण किया जाएगा। इनमें क्लोनल यूकलिप्टस, रूटशूट टीक, टिश्यू कल्चर, चंदन, मेलिया डुबिया, सामान्य बांस, टिश्यू कल्चर बम्बू, रक्त चंदन, आंवला, खमार, शीशम तथा महानीम आदि के पौधे रोपे जाएंगे। जबकि बस्तर में सागौन, नीलगीरि, सफेद चंदन, बांस और मेलिया डुबिया (मालाबार नीम) का रोपण किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री वृक्ष सम्पदा योजना उद्देश्य राज्य के सभी कृषकों,शासकीय,गैर शासकीय, अर्थ शासकीय, पंचायते, स्वायत्व संस्थानो भूमि पर वाणिज्यिक प्रजातियों के वृक्षारोपण उपरांत सहयोगी संस्था-निजी कंपनियों के माध्यम निर्धारित समर्थन मूल्य पर वनोपज के क्रय की व्यवस्था करते हुए एक सुदृढ़ बाजार सुनिश्चित करना। इसके साथ ही प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से स्थानीय रोजगार में वृद्धि के साथ-साथ कृषकों की आय में वृद्धि करना है और पर्यावरण में सुधार एवं जलवायु परिवर्तन के विपरीत प्रभाव को कम करना तथा गैर वन भूमि में वानिकी का विस्तार करना है। कार्यक्रम में अतिथियों द्वारा पौधारोपण भी किया गया।