हिजबुल्लाह ने 20 घंटे बाद माना- चीफ नसरल्लाह मारा गया:इजराइल ने हेडक्वार्टर को 80 टन बम से उड़ाया था; ईरान में खामेनेई सुरक्षित जगह भेजे गए

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इजराइली हमले में हिजबुल्लाह के चीफ हसन नसरल्लाह मारा गया है। हिजबुल्लाह ने करीब 20 घंटे बाद इसकी पुष्टि की है। IDF ने 27 सितंबर को रात करीब साढ़े 9 बजे लेबनान की राजधानी बेरूत में हिजबुल्लाह के हेडक्वार्टर पर हवाई हमला किया था। तब नसरल्लाह भी यहीं मौजूद था।

यरुशलम पोस्ट के मुताबिक, हमले में 80 टन बंकर बस्टर बम का इस्तेमाल किया गया था। इसके बाद शनिवार दोपहर करीब डेढ़ बजे इजराइली सेना ने नसरल्लाह की मौत का दावा किया। IDF ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर लिखा कि अब दुनिया को नसरल्लाह से डरने की जरूरत नहीं है। वह आतंक नहीं फैला पाएगा।

इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने शुक्रवार को UN में भाषण देने के बाद अपने होटल रूम से हिजबुल्लाह के हेडक्वार्टर पर हमले की इजाजत दी थी। अटैक के बाद इजराइली PM ऑफिस ने नेतन्याहू की एक तस्वीर जारी की थी, जिसमें वे लैंडलाइन फोन से लेबनान में हमले का आदेश दे रहे हैं।

नसरल्लाह के मारे जाने के बाद मिडिल ईस्ट में तनाव बढ़ गया है। इस बीच, ईरान में सुप्रीम लीडर आयतुल्लाह अली खामेनेई ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई। न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, खामेनेई को सुरक्षित स्थान पर भेज दिया गया है।

ये तस्वीर इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के ऑफिस की तरफ से जारी की गई है। UN में स्पीच के बाद नेतन्याहू ने लैंडलाइन के जरिए लेबनान में अटैक करने का आदेश दिया। यह फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है।
ये तस्वीर इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के ऑफिस की तरफ से जारी की गई है। UN में स्पीच के बाद नेतन्याहू ने लैंडलाइन के जरिए लेबनान में अटैक करने का आदेश दिया। यह फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है।

हिजबुल्लाह ने अपने चीफ हसन नसरल्लाह की मौत की पु्ष्टि कर दी है। न्यूयॉर्क टाइम्स के मुताबिक, हिजबुल्लाह को शनिवार सुबह नसरल्लाह का शव बरामद हुआ था। इसके अलावा हिजबुल्लाह का टॉप मिलिट्री कमांडर अली काराकी भी हमले में मारा गया है।

BBC के मुताबिक, इजराइल और हिजबुल्लाह में 11 दिन से जारी टकराव के बीच हजारों लेबनानी बेघर हो गए हैं। UN एजेंसी ने लेबनान में लोगों को शरण देने के लिए 500 शेल्टर बनाए हैं। बमबारी के बीच साउथ लेबनान में बेघर हुए हजारों लोग सड़कों, कारों और पार्क में सो रहे हैं।

तस्वीर बेरूत की है, जहां लेबनानी कुठ जरूरत का सामान लेकर सड़क पर रह रहे हैं।
तस्वीर बेरूत की है, जहां लेबनानी कुठ जरूरत का सामान लेकर सड़क पर रह रहे हैं।
तस्वीर बेरूत की है, जहां लेबनानी कुठ जरूरत का सामान लेकर सड़क पर रह रहे हैं।
बेरूत के शहीद चौक पर सैकड़ों लेबनानी परिवारों ने शरण ली है।
बेरूत के शहीद चौक पर सैकड़ों लेबनानी परिवारों ने शरण ली है।
सैकड़ों लेबनानी बेरूत के चौराहों पर अपनी कारों में रात गुजारते नजर आए।
सैकड़ों लेबनानी बेरूत के चौराहों पर अपनी कारों में रात गुजारते नजर आए।
दाहियेह शहर में इजराइली हमले के बीच शुक्रवार को शहीद चौक पर लोगों ने कारों में रात गुजारी।
दाहियेह शहर में इजराइली हमले के बीच शुक्रवार को शहीद चौक पर लोगों ने कारों में रात गुजारी

ईरान में विदेश मंत्रालय के अधिकारी आयतुल्लाह मोहम्मद अखतारी ने कहा है कि ईरान आने वाले कुछ दिनों में लेबनान और सीरिया में सैनिकों की तैनाती की तैयारी में है। इसके लिए रजिस्ट्रेशन भी शुरू कर दिया गया है।

अखतारी ने कहा, “वरिष्ठ अधिकारी जल्द ही गोलन हाइट्स में सैनिकों को तैनात करने की इजाजत दे देंगे। हम लेबनान में इजराइल से लड़ाई के लिए 1981 की तरह ही सेना भी भेज सकते हैं।”

ईरान के सुप्रीम लीडर खामेनेई ने कहा, “सभी मुस्लिमों को इस वक्त लेबनान और हिजबुल्लाह के साथ खड़े होने की जरूरत है। उन्हें साथ आकर दुष्ट इजराइल से लड़ाई लड़नी होगी। इस क्षेत्र का भविष्य अब इस बात पर टिका है कि हम कितनी ताकत से इजराइल को रोक सकते हैं। हिजबुल्लाह इस अभियान में हमारा नेतृत्व कर रहा है।”

इजराइली सेना ने बताया कि नसरल्लाह को मारने के लिए जो ऑपरेशन चलाया गया था उसे ‘न्यू ऑर्डर’ नाम दिया गया था। बेरूत पर हमले के दौरान इजराइल के रक्षा मंत्री योव गैलेंट और IDF के चीफ ऑफ स्टाफ कमांड सेंटर से ऑपरेशन पर नजर बनाए हुए थे।

न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, नसरल्लाह की मौत की खबर के बाद ईरान में सुप्रीम लीडर आयतुल्लाह अली खामेनेई को सुरक्षित जगह पर शिफ्ट किया गया है।

नसरल्लाह 1992 से ईरान समर्थित संगठन हिजबुल्लाह का चीफ था। जब उसे यह जिम्मेदारी मिली तब वह महज 32 साल का था। नसरल्लाह संगठन के फाउंडिंग मेंबर्स में से एक था। इजराइल ने 2 महीने के भीतर हिजबुल्लाह की पूरी लीडरशिप को खत्म कर दिया है।

इजराइल ने 30 जुलाई को लेबनान पर एक एयरस्ट्राइक में हिजबुल्लाह के दूसरे सबसे सीनियर लीडर फुआद शुकर को मार गिराया था। इसके ठीक अगले दिन 31 जुलाई को ईरान पर हमला कर हमास चीफ इस्माइल हानियेह को भी मार दिया था।

अब हिजबुल्लाह की लीडरशिप में कोई सीनियर नेता नहीं बचा है। वहीं हमास की लीडरशिप में सिर्फ याह्या सिनवार जीवित है, जो गाजा में मौजूद है।

इजराइली मीडिया हाउस चैनल 12 ने नसरल्लाह के अलावा उसकी बेटी जैनब की मौत का भी दावा किया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हिजबुल्लाह चीफ की बेटी का शव उस कमांड सेंटर के मलबे में मिला है जिस पर इजराइल ने हमला किया था।

उन्होंने कहा कि लेबनान के अधिकारियों ने इसकी पुष्टि की है। इजराइली सेना ने लेबनान में बेरूत समेत कई इलाकों पर दूसरे दिन भी मिसाइल हमले किए हैं।

इजराइल ने बेरूत के दहियाह शहर में रहने वाले लोगों को तुरंत इलाका खाली करने को कहा है। इजराइली सेना का कहना है कि इन जगहों का इस्तेमाल हिजबुल्लाह, इजराइल पर हमले के लिए कर रहा है।

न्यूयॉर्क टाइम्स के मुताबिक बेरूत पर इजराइली हमले के बाद ईरान के सर्वोच्च नेता आयतुल्लाह खामेनेई ने शुक्रवार रात अपने घर पर राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की एक इमरजेंसी मीटिंग बुलाई थी।

बैठक में ईरानी राष्ट्रपति मसूद पजशकियान ने इजराइली हमले की निंदा की और इसे वॉर क्राइम बताया। खामेनेई के सलाहकार अली लारीजानी ने कहा कि इजराइल हद पार कर रहा है।

लोगों की हत्या से समाधान नहीं निकलेगा। दूसरे लोग उनकी जगह ले लेंगे। उन्होंने कहा कि इजराइली आतंक का सामना करने के लिए लोग और मजबूती से एकजुट होंगे।

इजराइल और हिजबुल्लाह के बीच 2006 के बाद सबसे भयानक लड़ाई छिड़ी है। 2006 में लेबनान पर हुए इजराइली हमले में हजार से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी।

17 सितंबर को लेबनान पर पेजर अटैक हुआ था। इसके ठीक एक दिन बाद पेजर और वॉकी-टॉकी में भी विस्फोट हुए थे। हिजबुल्लाह और लेबनान ने इजराइल को इन हमलों का जिम्मेदार माना था।

तब से इजराइल लगातार लेबनान में मिसाइल हमले कर रहा है। अलजजीरा की रिपोर्ट के मुताबिक, इजराइली मिसाइल हमलों की वजह से लेबनान में 700 से ज्यादा लोग मारे गए हैं।

इसके अलावा 5 लाख से ज्यादा लोगों को अपना घर छोड़कर जाना पड़ा है। इजराइल ने लेबनान में चलाए जा रहे ऑपरेशन को “नॉर्दर्न एरोज” नाम दिया है।

इजराइली डिफेंस फोर्स (IDF) ने 23 सितंबर को लेबनान पर सबसे बड़ा हमला किया था। IDF ने हिजबुल्लाह के 1600 ठिकानों को निशाना बनाते हुए एयर स्ट्राइक की थी। इनमें 10 हजार रॉकेट बर्बाद करने का दावा किया गया। इस हमले में 569 लोगों की मौत हुई।

इजराइल और लेबनान में जारी टकराव के बीच इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने शुक्रवार को UN की महासभा को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि वे इस बार UNGA में भाषण नहीं देना चाहते थे, लेकिन इजराइल को लेकर फैलाए जा रहे झूठ ने उन्हें अपने देश का पक्ष रखने पर मजबूर कर दिया।

नेतन्याहू का भाषण शुरू होते ही कई देशों के प्रतिनिधि UN असेंबली से उठकर चले गए। नेतन्याहू ने कहा, “मैंने पिछले बार एक मैप दिखाया था, जिसमें इजराइल और उसके साथी अरब देश एशिया को यूरोप से जोड़ रहे थे, हिंद महासागर को भूमध्य सागर से जोड़ रहे थे।”

इजराइल ने 26 सितंबर को लेबनान में जंग रोकने से इनकार कर दिया था। इजराइली प्रधानमंत्री के कार्यालय ने सोशल मीडिया पर इसकी जानकारी दी। इसमें कहा गया था कि सीजफायर की रिपोर्ट्स गलत हैं।

सीजफायर पर नेतन्याहू के इनकार के बाद व्हाइट हाउस ने कहा था कि उन्होंने सीजफायर प्रस्ताव की घोषणा से पहले इजराइल के साथ बातचीत की थी। तब उन्होंने इसके लिए सहमति जताई थी।

CNN के मुताबिक व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जीन पियरे ने कहा कि बुधवार को इजराइली पक्ष की सहमति के बाद ही 21 दिन के सीजफायर प्रस्ताव का ऐलान किया गया था।

इसके बाद अमेरिका और फ्रांस ने UN में इसे लेकर संयुक्त बयान भी जारी किया, लेकिन कुछ ही घंटे बाद इजराइल ने इससे इनकार कर दिया।

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