CBI केस में केजरीवाल की हिरासत 11 सितंबर तक बढ़ी:राउज एवेन्यू कोर्ट ने CBI की सप्लीमेंट्री चार्जशीट पर संज्ञान लिया; सीएम को समन जारी

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दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने शराब नीति मामले से जुड़े CBI केस में CM अरविंद केजरीवाल की न्यायिक हिरासत 11 सितंबर तक बढ़ा दी है। कोर्ट ने CBI की सप्लीमेंट्री चार्जशीट पर भी संज्ञान लिया और केजरीवाल को समन जारी किया।

CBI ने अरविंद केजरीवाल, दुर्गेश पाठक, विनोद चौहान, आशीष माथुर, सरथ रेड्डी के खिलाफ सप्लीमेंट्री चार्जशीट दायर की थी। कोर्ट ने आरोपियों को जवाब दाखिल करने के लिए 11 सितंबर तक का समय दिया है।

27 अगस्त को कोर्ट ने CBI की सप्लीमेंट्री चार्जशीट पर अपना फैसला सुरक्षित रखा था। तब केजरीवाल तिहाड़ जेल से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश हुए थे। CBI ने 14 दिन की ज्यूडिशियल कस्टडी की मांग की थी, लेकिन अदालत ने एक हफ्ते, यानी 3 सितंबर तक ही हिरासत बढ़ाई थी।CBI ने 30 जुलाई को चौथी सप्लीमेंट्री चार्जशीट दाखिल की थी, जिसमें केजरीवाल को आरोपी बनाया गया था। एजेंसी ने आरोप लगाया गया कि केजरीवाल शराब नीति घोटाले में मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक हैं। CBI को राउज एवेन्यू कोर्ट से 23 अगस्त को केजरीवाल पर मुकदमा चलाने की मंजूरी मिली थी।

शराब नीति केस में केजरीवाल के खिलाफ ED और CBI का केस चल रहा है। ED ने केजरीवाल को 21 मार्च को गिरफ्तार किया था। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने 12 जुलाई को ED मामले में उन्हें अंतरिम जमानत दे दी थी, लेकिन CBI केस में वह जेल में बंद हैं। CBI ने 26 जून को शराब नीति केस में भ्रष्टाचार के आरोपों पर केजरीवाल को गिरफ्तार किया था।

दिल्ली हाईकोर्ट ने 5 अगस्त को केजरीवाल की CBI की गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली याचिका खारिज कर दी थी। साथ ही जमानत के लिए लोअर कोर्ट जाने को कहा था। केजरीवाल हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंचे थे। CBI केस में उनकी जमानत याचिका पर 5 सितंबर को सुनवाई होगी।

सुप्रीम कोर्ट ने ED के मनी लॉन्ड्रिंग केस में अरविंद केजरीवाल को 12 जुलाई को जमानत दे दी थी। जमानत देते हुए जस्टिस संजीव खन्ना ने कहा था कि केजरीवाल 90 दिन से जेल में हैं। इसलिए उन्हें रिहा किए जाने का निर्देश देते हैं। हम जानते हैं कि वह चुने हुए नेता हैं और ये उन्हें तय करना है कि वे मुख्यमंत्री बने रहना चाहते हैं या नहीं।

जस्टिस खन्ना ने कहा था कि हम ये मामला बड़ी बेंच को ट्रांसफर कर रहे हैं। गिरफ्तारी की पॉलिसी क्या है, इसका आधार क्या है। इसके लिए हमने ऐसे 3 सवाल भी तैयार किए हैं। बड़ी बेंच अगर चाहे तो केजरीवाल की अंतरिम जमानत पर बदलाव कर सकती है।सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के पूर्व पीए बिभव कुमार को जमानत दे दी। बिभव पर आम आदमी पार्टी की (AAP) राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के साथ मारपीट करने का आरोप है। कोर्ट ने कहा कि मालीवाल को आई चोटें सामान्य हैं। इस केस में जमानत मिलनी चाहिए। आप किसी व्यक्ति को ऐसे केस में जेल में नहीं रख सकते हैं

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