भाजपा के इस उम्मीदवार को आज तक नहीं हरा पाई कांग्रेस
छत्तीसगढ़ में एक ऐसी विधानसभा है जिसे भेदने का प्रयास कांग्रेस के लिए एक सपना बन गया है। ये विधानसभा है रायपुर की दक्षिण विधानसभा। रायपुर दक्षिण से बृजमोहन अग्रवाल 7 बार विधायक चुनाव जीत चुके हैं और 8वीं बार फिर से चुनावी मैदान में हैं। इस बार भी कांग्रेस की कोशिश रहेगी की वो भाजपा के इस भेद किले को भेद सके।
रायपुर दक्षिण छत्तीसगढ़ की हाईप्रोफाइल विधानसभा सीटों में से एक है। इस सीट पर सिर्फ और सिर्फ एक उम्मीदवार की तूती बोलती है और वो उम्मीदवार हैं पूर्व मंत्री और वर्तमान विधायक बृजमोहन अग्रवाल। बृजमोहन अग्रवाल के कद का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इस सीट पर उन्हें हराने के लिए विरोधियों ने कई बार खेमेबंदी की। लेकिन हर बार बृजमोहन पहले से ताकतवर बनकर उभरे। चाहे छत्तीसगढ़ में किसी की भी लहर चले,जातिगत की बात हो, योजनाओं का हवाला दिया जाए या फिर दूसरे तरह के माहौल बने। दक्षिण विधानसभा में बृजमोहन को लेकर जनता की राय टस से मस नहीं हुई।
वर्ष 2008 के परिसीमन के बाद रायपुर की दो विधानसभा सीट को बांटकर चार सीट बनाई गई। उसके बाद से बृजमोहन अग्रवाल रायपुर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधत्व कर रहे हैं। इस सीट पर अविभाजित मध्यप्रदेश के समय से ही बृजमोहन अग्रवाल विधायक हैं। बृजमोहन अग्रवाल 1990 में पहली बार अविभाजित मध्य प्रदेश में विधायक बनें। इसके बाद भी वो 1993,1998 में भी अविभाजित मध्य प्रदेश में विधायक बनें। फिर छत्तीसगढ़ राज्य का गठन हुआ। इसके बाद बृजमोहन अग्रवाल लगातार चार बार 2003, 2008, 2013 और 2018 में चुनाव जीत चुके हैं।